नवरात्रि का समय एक अत्यंत शुभ समय माना गया है। जब श्राद्ध पक्ष के पश्चात शारदीय नवरात्रि / Shardiya Navratri आती है, तो यह समय ढेर सारी शुभता को साथ लाती है। इस समय अनेक धार्मिक कार्य संपन्न होते हैं। यह वह समय है जब सभी लोग श्राद्ध पक्ष की समाप्ति के पश्चात वस्तुओं की खरीदारी एवं मांगलिक-सांस्कृतिक कार्यक्रम, विवाह इत्यादि का प्रारम्भ भी करते हैं।
अधिकांश लोग नवरात्रि के समय अपने लिए घर की बुकिंग या किसी संपत्ति की खरीदारी और उसके निर्माण से जुड़े काम करना चाहते हैं। इस समय पर घर खरीदने के लिए कोई शुभ मुहूर्त देखने की आवश्यकता नहीं होती है क्योंकि इन 9 दिनों का समय शुभता का परिचायक होता है। इस समय पर घर खरीदना उसके मूल्य की वृद्धि एवं उसकी शुभता को बढ़ाता है।
नवरात्रि का समय वस्तुओं की खरीदारी के लिए विशेष माना जाता है। इस समय पर बाजारों की रौनक भी अपने चरम पर होती है। हर ओर हर्ष उल्लास देखने को मिलता है। ऎसे में यह समय भूमि-भवन संपत्ति से जुड़े मामलों के लिए भी बहुत शुभ माना गया है। इस समय की शुभता को ध्यान में रखते हुए, यह जमीन एवं घर की खरीदारी से संबंधित कामों के लिए बहुत अच्छा माना गया है।
नवरात्रि में संपत्ति की खरीदारी, पूरा होगा घर का सपना
7 अक्टूबर से शुरु होने वाले शारदीय नवरात्रि का आरंभ बृहस्पतिवार से होगा। बृहस्पति को ज्ञान व सौभाग्य का सूचक माना गया है अनेकों मांगलिक एवं शुभ कार्यों के लिए बृहस्पतिवार का दिन बहुत ही शुभ होता है। मुहूर्त अनुसार इस समय पर शुभ कार्य करना उत्तम होता है। चैत्र और शारदीय नवरात्रि का आरंभ जिस दिन योग नक्षत्र / Nakshatra इत्यादि में होता है उससे जुड़े कार्यों में व्यक्ति को अच्छे परिणाम मिलते है। शारदीय नवरात्रि से लेकर दशमी तक का समय अत्यंत ही महत्वपूर्ण होता है जिसमें प्रत्येक दिन का विशेष महत्व होता है। इन सभी दिनों में किसी ना किसी वस्तु की खरीदारी की जाती है। इसमें मंगलवार का दिन संपति से जुड़े कामों को पूरा करने के लिए अत्यंत ही वृद्धि दायक होता है। इस समय पर किया गया निवेश घर के सुख काकारक बनता है।
नवरात्रि की शुभता दिलाती हैं संपत्ति लाभ
इस वर्ष अक्टूबर में प्रारम्भ होने वाले शारदीय नवरात्रि विजय दशमी पर्व के साथ समाप्त होंगे। इन दिनों में बनने वाले नक्षत्र, योग भूमि से जुड़े लाभ दिलाने में काफी सहायक होंगे। नवरात्रि में देवी दुर्गा के विभिन्न रूपों की आराधना कई रुपों में होती है। जो लोग लम्बे समय से अपना घर खरीदने की कोशिशों में लगे हुए थे उनका सपना इस समय पूरा हो सकता है। इस समय सर्वार्थ सिद्धि एवं रवि योग की शुभता द्वारा भूमि प्राप्ति के योग के लिए भी फलदायी होगी। माना जाता है कि शक्ति की साधना करने से साधक के सभी कष्ट दूर हो जाते हैं। नवरात्रि में कलश स्थापना का भी विशेष महत्व है। मान्यता है कि नवरात्रि के दौरान मां दुर्गा पूजा करने से भक्तों पर माता रानी की कृपा बरसती है।
नवरात्रि के दिन बनने वाला रवि योग, अमृत सिद्धि योग, गजकेसरी योग अबूझ मुहूर्त योग जब भी बनते हैं तो उस समय पर संपत्ति योग काफी प्रबल होता है। इसी के साथ ग्रह नक्षत्रों की शुभ स्थिति का योग इन नौ दिनों में किसी न किसी रुप में जरूर देखने को मिलता है।
नवरात्रि में खुद का घर खरीदना देगा जीवनभर का सुख
घर एक ऎसा स्थान जो परिवार, समाज, राष्ट्र एवं विश्व की स्थापना की आधारशिला है। घर की अवधारणा सभी में मन में होती है। प्रत्येक व्यक्ति एक ऎसे स्थान को अपना निवास बनाना चाहता है जहां उसके जीवन का पूर्ण विकास हो पाए और वह जीवन के हर क्षेत्र का सुख प्राप्त कर सके इसलिए घर कब खरीदा जाए तथा किस समय पर घर को लेना सबसे शुभ होता है इन बातों को ज्योतिष एवं हिंदू शास्त्रों द्वारा निर्धारित कुछ पहलूओं द्वारा दर्शाया गया है।
इस में पंचांग / Panchang गणना द्वारा शुभ समय को देखें तो नवरात्रि का समय बहुत ही शुभ समय होता है। नवरात्रि की शुभता का पर्व जहां भगवान राम के जन्म से जुड़ा है तो वहीं राम जी के अधर्म नाश एवं विजय प्राप्ति से भी है। इसलिए यह एक ऎसा समय होता है जो सर्वाधिक शुभ माना जाता है। इसलिए नवरात्रि के दिनों को भूमि प्राप्ति के लिए अत्यंत ही शुभ माना गया है। इस समय पर माता का आशीर्वाद सभी प्राणियों को प्राप्त होता है। इस समय हर एक दिन शुभता की परकाष्ठा के साथ आता है ओर प्रत्येक दिन में जीवन के सभी रंग भी मौजूद होते हैं।
नवरात्रि का आगमन संपत्ति खरीदारी के लिए होता है खास
घर हम सभी के जीवन को सुखमय और शांतिमय बनाने वाला स्थान होता है। घर खरीदना सिर्फ सौदों की बात नहीं है जो त्यौहारों / Festivals के समय पर आकर्षक आॉफरों के साथ हमें देखने को मिलते हैं अपितु इसमें उन शुभताओं का होना महत्वपूर्ण है जो इस समय पर बहुत अधिक होती हैं। इसका लाभ बाजार और खरीदार दोनों को प्राप्त होता है। नवरात्रि के आगमन से पूर्व ही चीजों की खरीदारी के फैसले लिए जाते हैं और नवरात्रि के आते ही इन पर अमल किया जाता है।
इस समय पर सभी ग्रह व नक्षत्रों को शांति एवं शुभता प्राप्त होती हैं। दुर्गा सप्तशती में उल्लेख मिलता है की दसों दिशाओं की स्वामिनी माता प्रत्येक दिशा की रक्षा करती हैं। इस समय देवता भी माता की शरण पाते हैं उनकी स्तुति करते हैं तो ऎसे समय में जब सृष्टि के प्रत्येक कण में शक्ति का वास होता हो तो वह समय भूमी सुख के लिए अत्यंत अनुकूल एवं प्रभावी होता है। नव ग्रहों की शांति का यह समय किसी भी नई वस्तु की शुभता को बढ़ाने वाला होता है। अपना घर खरीदने से पहले उसके लिए शुभ समय का ज्ञान होना बहुत जरुरी है, इसलिए नवरात्रि का समय घर तथा संपत्ति के सुख में वृद्धिदायक बन जाता है।
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